नाग पंचमी | कालसर्प दोष से मुक्ति

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  • 24th Jul 2020

नाग पंचमी | कालसर्प दोष से मुक्ति

क्या है नाग पंचमी?: श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को नाग पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। नाग पंचमी के दिन हम नागों का पूजन करते हैं, जिन्हें भगवान शिव का आभूषण मानते हैं। नागों को पताल लोक का स्वामी माना जाता हैं। आध्यात्मिक शक्ति, सिद्धि, धन प्राप्ति, मानसिक सुख, प्राप्त करने के लिए हम नागों की पूजा करते हैं।

हम भारत में पृथ्वी, नदी, पेड़ पौधों, देवताओं एवं ग्रहों के साथ-साथ पशु पक्षियों के संरक्षण, पर्यावरण एवं प्राकृतिक संतुलन बनाए रखने के उद्देश्य से भी पूजा प्रार्थना करते हैं। धार्मिक मान्यता के अनुसार हर पशु पक्षी को किसी देवी या देवता से जोड़ा गया है। इसी कड़ी में हम नाग देवता अर्थात सांपों को भगवान शिव से जोड़ते हैं। इन्हे हम  महादेव शिव के गले के आभूषण मानते हैं और नाग पंचमी के दिन नागों का पूजन करते हैं।

नाग पंचमी का पर्व 25 जुलाई दिन शनिवार 2020 को मनाया जाएगा। अगर किसी जातक की कुंडली में कालसर्प दोष है, तो यह दिन उसके लिए बड़ा ही महत्वपूर्ण है इस दिन उसे कालसर्प दोष के निवारण के लिए उपाय चाहिए।

नाग पंचमी का मुहूर्त

पंचमी तिथि प्रारंभ 24 जुलाई 2020 14:33 से

पंचमी तिथि समाप्ति 25 जुलाई 2020 12:01 तक

नाग पंचमी पूजा का शुभ मुहूर्त 25 जुलाई सुबह 5:38 बजे से 8:22 तक है

कालसर्प दोष जातक की कुंडली में कई प्रकार की परेशानियां लेकर आता है। उसे अपने जीवन में अनेक प्रकार की कठिनाइयों एवं बाधाओं का सामना करना पड़ता है। हर काम को पूरा करने में काफी अड़चन आती है। कालसर्प दोष से पीड़ित जातक के विवाह में बाधा एवं वैवाहिक जीवन में उतार चराव एवं कई प्रकार के क्लेश बने रहते हैं। जातक को समय-समय पर चोट का सामना करना पड़ता है। जातक रोगों से ग्रस्त रहता है। हर समय आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है। जीविका अर्जन मे भी अनेक प्रकार की कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। नौकरी का बार-बार छूटना। चलते काम में परेशानी आना लगातार बना रहता है। संतान व संतान से संबंधित समस्या भी बनी रहती हैं। अगर आप भी कालसर्प दोष से पीड़ित हैं और किसी प्रकार की समस्या लगातार बनी रह रही है तो आप 25 जुलाई को कालसर्प दोष का निवारण कर सकते हैं, और जीवन में आने वाली समस्याओं से छुटकारा पाने का पर्यास सकते हैं।

1. अगर आपकी कुंडली में कालसर्प दोष है तो आप नाग पंचमी के दिन रखें नाग देवता की पूजा अर्चना करें इस दिन आप भगवान शिव और मां पार्वती के साथ मिट्टी के नाग नागिन बनाकर उनकी भी पूजा अर्चना करें।

2. मिट्टी के नाग नागिन को दूध, दुर्वा, अक्षत, पान हल्दी, रोली, चावल और फूल अर्पित करें।

3. आपको इस दिन नाग देवता के साथ-साथ महादेव शिव और मां पार्वती का आशीर्वाद प्राप्त करना चाहिए।

4. इस दिन आप चांदी का नाग-नागिन का जोड़ा बनाकर नदी में बहा सकते हैं। नाग नागिन के जोड़े को एक नारियल पर रखकर उसे मोली से अच्छी तरह लपेटकर पानी में बहा सकते हैं।

5. इस दिन राहु के बीज मंत्रों 'ऊं रां राहवे नम:' का जाप करना भी शुभ रहता है।

6. कालसर्प दोष से मुक्ति पहनने के लिए गायत्री मंत्रों का जाप करें।

7. इस दिन आप कच्चे दूध में मिश्री के दाने डालकर शिवलिंग पर चढ़ाऐ। इससे महादेव का आशीर्वाद प्राप्त होता है, एवं मानसिक शांति प्राप्त होती है।

8. इस दिन लोग भगवान शिव का आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए उन्हें भांग भी अर्पित करते हैं।

9. कालसर्प दोष करने का एक और सरल उपाय इस दिन शिवलिंग पर चंदन का तिलक लगाएं और उसके बाद आप भी तिलक लगा ले।

10. नागपंचमी के दिन भूमि नहीं खोदनी चाहिए।

अगर जातक की कुंडली में राहु केतु की स्थिति अच्छी नहीं है तो नाग पंचमी के दिन पूजा कर सकते हैं।

Astrologer & Vastu Expert Sunil Mehtani कहते हैं कि सिंह, कन्या, और धनु राशि के लिए नाग पंचमी शुभ रहेगी। सुनील मेहतानी के अनुसार नाग देवता को गुप्त धन अथवा खजाने की रक्षा करने वाला बताया गया है। इस दिन अगर हम नागों की विधि अनुसार पूजा करते हैं, तो अपार धन प्राप्ति के साथ-साथ मनोवांछित फलों की प्राप्ति भी होती है।

इस दिन अनंत, वासुकी, पद्म, महापद्म, तक्षक, कुलीर, करकट, और शंख नामक नागों की पूजा की जाती है। पूजा करने के बाद नाग पंचमी की कथा अवश्य सुननी चाहिए।

 

आपके सुखी जीवन के साथ-साथ प्रभु से प्रार्थना है कि आप स्वस्थ रहें, व्यस्त रहें और इस लेख को शेयर भी करे।

 

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